नई दिल्ली । उच्चतम न्यायालय ताजमहलक संरक्षण लेल केंद्र क ढुलमुल रवैया पर सरकार पर कठोर टिप्पणी करैत कहलक जे सरकार एहि विश्व प्रसिद्ध स्मारकक या त संरक्षण करौथु वा एकरा बंद अथवा ध्वस्ते कय दौथु।एफिल टावर सँ अधिक सुंदर एहि स्मारक भवन से विदेशी मुद्रा क अर्जन होइत अछि परंतु सरकार एकर साफ सफाई आ संरक्षण पर गंभीर नहि अछि। नाभरोस होइत शीर्ष न्यायालय सरकार कय एहि एतिहासिक विरासत क संरक्षण लेल कयल गेल कार्रवाई आ वांछित कार्रवाई सँ अवगत करयबाक आदेश देलक। न्यायमूर्ति एमबी लोकुर आ न्यायमूर्ति दीपक गुप्ता क पीठ संसदक स्थाई समिति क रिपोर्ट पर कोनो ठोस पहल नहि करबा पर आश्चर्य व्यक्त कयलनि।