मधुबनी। कहल जाइत अछि जे कोनो राज्यक विकास ओहि राज्यक सबस गरीब कए देखला पर बुझबा मे अबैत अछि। बिहारक विकास पर जखन गप होइत अछि त भीखमंगा समाज क लोक सामने अबैत अछि। आइ मधुबनी क राजो देवी एहि समाज लेल एकटा प्रेरणास्रोत बनि गेलथि अछि। एक साल पहिने तक राजो देवी अपन टोलाक कईटा महिला संग भीख मांगि कए गुजर बसर करैत छलीह। मुदा हुनका त अपन समाज लेल उदाहरण बनबाक छल। एक साल पहिने ओ तय केलथि जे भीख मांगि अपन जीवन यापन नहि करतथि। राजो देवी मेहनत स टका कमेबा लेल सबस पहिने अखबार बेचबाक काज शुरू केलथि। भोर मे ओ अखबार बेचैब शुरू केलथि। शुरुआत मे कनि समस्या भेल, मुदा राजो देवी हारि नहि मानलथि। ओ सब दिन भोर अखबार ल ग्राहक तक पहुंचैत रहलीह। महज दस टा अखबार स शुरु भेल हुनक प्रयास 30टा अखबार तक पहुंचबा मे बेसी दिन नहि लगेलक। आइ अखबार बेचबाक संगहि ओ एकटा निजी अस्पताल मे दाईक काज सेहो करैत छथि। राजो देवी क कहब अछि जे इज्जत क दू पाई बहुत संतोष दैत छैक। आइ राजो देवीक देखा देखी कईटा आओर महिला जे भीख मंगैत छलीह से मेहनत स टका कमा रहल छथि। राजो देवी आब भीख मंगैत कोनो महिला कए देखैत छथि त हुनका मेहनत स टका कमेबा लेल प्ररित करैत छथि आ हुनकर हर संभव मदद करैत छथि। राजो देवी क कहब अछि जे भीख मंगबा सन पुरान प्रथा कए खत्म करबा लेल ओ अंतिम सांस तक प्रयास करतीह। राजो देवी भीख स कमायल धन कए अभिशाप मानैत छथि। आइ मधुबनी क भीखमंगा समाज राजो देवी क प्रयास स मेहनतकश होइत जा रहल अछि। मधुबनी मे भीखमंगी क संख्या लगातार कम भेल जा रहल अछि। राजो देवी दावा करैत छथि जे एक दिन एहनो आउत जहिया मधुबनी मे एकोटा भीखमंगी देखबा लेल नहि भेटत। एकटा खामोश क्रांति लेल राजो देवी कए अभिनंदन।