गया। पूर्व राष्ट्रपति आ वैज्ञानिक एपीजे अब्दुल कलाम बिहार क उत्तरी क्षेत्र मे प्रति वर्ष अबैवाला बाढि़ क समस्या कए विकट करार देलथि अछि। ओ एकर स्थाई निदान क लेल अंतरराष्ट्रीय सहयोग क आवश्यकता बतौलथि अछि। कलाम ‘बिहार ब्रेन डेवलपमेंट सोसाईटी की दिस स आयोजित तीन दिवसीय तेसर बिहार साइंस कान्फ्रेंस क उद्घाटन करबाक बाद लोक कए संबोधित करैत छलाह। ओ कहला जे राज्य मे बाढि़ एकटा पैघ समस्या अछि आ प्रत्येक वर्ष हजारों-लाखों लोक एहि स प्रभावित होइत अछि। ओ कहला जे एहि स बचबा लेल बाढग़्रस्त क्षेत्र मे परतदार कुआं क निर्माण हेबाक चाही, जाहि स बाढि़ क तीव्रता कए कम कैल जा सक। कोसी क्षेत्र मे आयल प्रलंयकारी बाढि़ क चर्चा करैत ओ कहला जे एहि विकट समस्या क स्थाई समाधान क लेल अंतरराष्ट्रीय सहयोग क आवश्यकता अछि। पूर्व राष्ट्रपति गंगा क महत्व क चर्चा करैत कहला जे देश मे गंगा नदी क क्षेत्रफल काफी पैघ अछि, मुदा हम एकर पाइन क समुचित उपयोग नहि करि पाबि रहल छी। वर्तमान परिवेश मे नदी कए जोड़ब जरूरी अछि, जाहि स पाइन कए सिंचाई, विद्युत उत्पादन आ पेयजल मे उपयोग भ सकए। ओ राज्य मे जल संसाधन तकनीक कए चुनौती कहैत कहला जे एहि ठाम जल क कमी नहि अछि, जरूरत अछि एकर सही उपयोग हुए। कलाम जल संरक्षण पर विशेष ध्यान देबाक वकालत करैत राज्य मे घटि रहल पोखर क संख्या पर चिंता व्यक्त करैत बचल पोखर कए अतिक्रमण स मुक्त करेबा पर बल देलथि। ओ साईंस कान्फ्रेंस क लाभ क चर्चा करैत कहला जे एहि मे देश क कोन- कोन स वैज्ञानिक जुटलथि अछि आ एहि स विज्ञान क गूढ रहस्य कए जानबा आ विचार कए अभिव्यक्त करबा क मौका भेटत। नव गप निकलि कए सामने आउत।
समारोह कए संबोधित करैत मुख्यमंत्री नीतीश कुमार कहला जे एहि आयोजन मे सम्मिलित वैज्ञानिक स निश्चय तौर पर राज्य क युवा कए प्रेरणा भेटत। एहि मौक ा पर ओ गया कॉलेज क नवनिर्मित छात्रावास क उद्घाटन सेहो केलथि।