पटना । चीन स भारत सडक मार्ग स जुडि रहल अछि आ बिहार भारत द्वार बनत। एशियाई देशक बीच प्रस्तावित राजमार्ग लेल विश्व बैंक तैयार भ गेल अछि। एहि राजमार्ग स केवल भारत आ चीन नहि बल्कि कईटा एशियाई देश एक दोसर स जुडि जाएत। एशियन हाईवे नाम स प्रस्तावित एहि परियोजना पर काफी पहिने हस्ताक्षर भ चुकल अछि। मामला आब जमीन पर उतरि रहल अछि। एनएचएआइ कए एकर सर्वे करबा लेल कहल गेल अछि। छह लेन क एहि एशियन हाइवे प्रोजेक्ट क एलायनमेंट तय भ चुकल अछि। बिहार मे 690 किमी क सड़क बनत। एहि छह लेन क सड़क पर केवल ओ गाडी चलि सकत जे कोनो न कोनो एशियाई देश ले सफर करत। एक्सप्रेस हाइवे क तर्ज पर एहि पर परिचालन होएत। बिहार स जे सडक गुजरत ओकरा एशियन हाइवे नंबर-1 कहल जाएत। इ हाइवे नेपाल स बिहार (भारत ) क सीमा मे रक्सौल भ कए आउत। रक्सौल क बाद इ सडक पिपराकोठी आउत, ओहि ठाम स मुजफ्फरपुर आउत जतए इ एनएच-28 स जुडि जाएत आ बेगूसराय जीरो माइल होइत मोकामा, बख्तियारपुर, रजौली, डोभी होइत बरही (झारखंड) मे चल जाएत। नेपाल स इ चीन चल जाएत। पथ परिवहन आ राजमार्ग मंत्रालय ओहि राज्य सब कए पत्र लिखलक अछि जाहि भ कए इ राजमार्ग गुजरत। एहि योजना लेल संबंधित अफसर स एलायनमेंट पर पूरा ब्योरा मांगल गेल अछि। ज्ञात हुए जे एखन बिहार क लोक नेपाल तक सड़क मार्ग स जाइत छथि। मुदा एहि राजमार्ग बनला स चीन आ भारत बीच सीधा सडक संपर्क भ जाएत। ड्रैगन क देश स लोक भारत बिहार क रास्ते त ऐबे करत संगहि बिहार क महत्व एहि लेल सेहो बेसी भ जाएत जे कईटा दोसर प्रांत क लोक सेहो बिहार भ कए चीन जेताह।