बिहारक गाम पहुंचल ई-क्रांति क धमक
पटना। समाद दू साल पहिने मधुबनीक सदूर इलाका ककलौल गाम मे इंटरनेट क मौजूदगीक समाचार प्रमुखता स अहां तक पहुंचेने छल। आइ बिहार क गाम मे लोकइंटनेट स अनचिन्हार नहि छथि। खास कए उत्तर बिहार क जिला मे इंटरनेट क धूम मचल अछि। साल क चारि मास बाढ़ मे डूबल एहि इलाका मे जतय एक गाम स दोसर गाम पहुंचब कठिन रहैत अछि, ओतहि सूचना क आदान-प्रदान क एहि माध्यम स परिवर्तन क एकटा अलग बयार बहि रहल अछि। जिला या अनुमंडल मुख्यालय स सटल गाम, एतबा धरि जे दियारा क वासी सेहो आब एकर इस्तेमाल स अछूता नहि छथि। कम पढ़ल-लिखल लोक नेट क माध्यम स ग्रुप डी तक क नौकरी ताकि रहल छथि,त छात्र क समूह अपन रिजल्ट देख रहल अछि। आंकड़ाक अनुसार मधुबनी मे 2003 मे शुरू भेल छल इंटरनेट ढाबा। आइ जिला मे एकर संख्या 850 स स बेसी अछि। एहि ठामक 399 पंचायत मे स 200 स बेसी मे इंटरनेट चलि रहल अछि। समस्तीपुर जिला मे इंटरनेट क रोजाना करीब 40 हजार टकाक कारोबार होइत अछि। जिला क विभिन्न हिस्सा मे फैलल 30-40 ढाब मे इंटरनेट क उपयोग कैल जा रहल अछि। सवा सौ पंचायत मे इंटरनेट क कनेक्शन लागि चुकल अछि, शेष मे प्रक्रिया जारी अछि। दरभंगा क शहरी आ ग्रामीण इलाका मे लगातार इंटरनेट क चलन बढि़ रहल अछि। लोग निजी उपयोग क लेल ब्राड बैंड कनेक्शन ल रहल छथि, ओतहि एकर व्यावसायिक उपयोग सेहो धड़ल्ले स भ रहल अछि। मुजफ्फरपुर शहर मे इंटरनेट क चलन ओना त 13 वर्ष पहिने शुरू भ चुकल छल, मुदा आब इ गली-मुहल्ला होइत गाम तक अपन पैठ बना चुकल अछि। शहर मे आइ एकर संख्या सौ स ऊपर अछि, जखनकि वसुधा क सौजन्य स इ अधिकतर पंचायत तक दस्तक द रहल अछि। सर्फिग चार्ज सेहो 35-40 स घटिकए 10-15 टका प्रति घंटा भ गेल अछि। पश्चिमी चंपारण मे डायल अप टोन स करीब तीन वर्ष पहिने बेतिया क हजारीमल धर्मशाला स शुरू भेल इंटरनेट ढाबा क सफर नरकटियागंज आ बगहा तक पहुंच चुकल अछि आ एकर संख्या करीब सौ भ चुकल अछि। वसुधा क तहत बेतिया पुलिस जिला मे 315 पंचायत मे स 150 मे आ बगहा पुलिस जिले मे 4 जगह पर नेट सर्विस चालू भ चुकल अछि। पूर्वी चंपारण मे मोतिहारी शहर क सोना आवासीय होटल क नीचा करीब दस साल पहिने साइबर कैफे क शुरुआत भेल छल। आइ एहि ठाम करीब एक दर्जन कैफे रन करि रहल अछि। रक्सौल, चकिया, सुगौली आ ढाका मे सेहो करीब आधा दर्जन कैफे खुलि चुकल अछि। जिला क कुल 409 पंचायत मे करीब दू दर्जन स बेसी मे वसुधा क तहत नेट लिंक भ चुकल अछि ग्रामीण माउस पर अंगुली नचा रहल अछि। एक दशक पूर्व सीतामढ़ी क गुदरी रोड मे नीरज नामक युवक प्रयोग क तौर पर जिला क पहिल इंटरनेट ढाबा खोलने छल। तीन-चार साल तक कैफे घाटा मे चलल। वजह, लोक नेट स अनजान छल। धीरे-धीरे चलन बढ़ल त ओकर कैफे मे भीड़ उमड़ल। आब जिला मे कैफे क संख्या सौ क आसपास अछि। कईटा गाम मे सेहो कैफे खुलि गेल अछि। जिला क 260टा पंचायत कए नेट स जोड़ल जा चुकल अछि।